थे खेलों लाल गुलाल, होली नित आवे। Rajasthani Holi song The khelo lal gulal holi nit aave lyrics available in Hindi. RSS संघ की शाखाओं में होली पर इस प्रकार के अनेकों होली के गीत बड़ी धूमधाम के साथ गाये जाते है। तो आप भी आनंद लीजिये थे खेलो लाल गुलाल होली गीत का।
The Khelo Lal Gulal Holi Geet Lyrics in Hindi
होली के त्यौहार पर प्रस्तुत है थे खेलों लाल गुलाल होली गीत के बोल (lyrics) हिंदी (राजस्थानी भाषा) में।
थे खेलों लाल गुलाल, होली नित आवे।थे चलो प्रेम री चाल, होली नित आवे।
कीचड़ माटी थे न उड़ाओं, भेदभाव ने दूर भगाओं।बणो देश रा लाल, होली नित आवे ।।1।। थे खेलों लाल गुलाल…प्रेम ज्ञान री भर पिचकारी, होली होली खेलो देश पुजारी।हो जावैं देश निहाल, होली नित आवे ।।2।। थे खेलों लाल गुलाल….चन्द्रगुप्त बांको मतवालो, कर्या सिकन्दर को मुंह कालो।एहड़ी चालो चाल, होली नित आवे ।।3।। थे खेलों लाल गुलाल….होली खेली लक्ष्मी बाई, गोरा ने बा खड़ग दिखाई।उठो जवानों आज, होली नित आवे।।4।। थे खेलों लाल गुलाल….देश पे देणी है कुर्बानी, भगत सिंह का बन अनुगामी।तरूण, वृद्ध और बाल, होली नित आवे।।5।। थे खेलों लाल गुलाल…गांव नगर में शाखा लगाओ, सोई हिन्दू शक्ति जगाओं।अब जननी करे पुकार, होली नित आवे।।6।। थे खेलों लाल गुलाल…
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थे खेलो लाल गुलाल होली गीत का महत्व
राजस्थानी भाषा के इस होली गीत The Khelo Lal Gulal Holi Nit Aave के पहले ही अन्तरे में भेदभाव को दूर करने की बात की गयी है। यह Sangh Geet चन्द्रगुप्त, रानी लक्ष्मी बाई, भगत सिंह जैसे महापुरुषों को याद करने का अवसर देता है। साथ ही थे खेलों लाल गुलाल गीत में ग्राम और नगर सभी जगह शाखा के माध्यम से सोई हिन्दू शक्ति को जाग्रत करने का आव्हान किया गया है।